जशपुर । जशपुर से एक बड़ी और दु:खद खबर निकलकर आ रही है। पूरे प्रदेश मे नागलोक के नाम से प्रसिद्ध तफकरा गांव के रहने वाले बच्चो का भविष्य गढ़ने वाले एक अच्छे शिक्षक और एक अच्छे गायक नहीं रहे। कोरोना वायरस ने इस महान शिक्षक को हमेशा के लिये मौत की निंद सुला दिया। बताया जा रहा है रायगढ़ के निजी हास्पीटल मे बीती रात आखीरी सांस ली। अचानक रात मे उनकी तबियत बिगड़ी और वे इस दुनिया को अलविदा कर गये।इस घटना से रौनियार समाज सहित पूरे गांव मे शोक की लहर दौड़ गई।
सूत्रो से मिली जानकारी मुताबिक आज से 12 दिन पहले स्वास्थ्य ठीक नहीं होने की वजह से शिक्षक ने तपकरा स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पहुंचकर अपना कोविड टेस्ट कराया था जिसमे रिपोर्ट पाजिटिव आया था। कोरोना संक्रमित होने के बाद शिक्षक को ईलाज के लिये जशपुर रेफर किया था नाजुक स्थिति को देगते हुए उन्हे रायगढ रेफर किया गया था जहां एक निजी अस्पताल मे उनका ईलाज चल रहा था। बताया जा रहा वे काफी हद तक ठीक भी हो गये थे। बिती रात उनकी अचानक तबियत बिगड़ी और वे इस दुनिया छोड़ कर चले गये। आज सबेरे एम्बुलेश रायगढ से डेड बाडी तपकरा लेकर आई जिसके बाद उनका दाह संस्कार किया गया।