बिलासपुर । बिलासपुर एसएसपी पारूल माथुर ने इस मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए गवर्नमेंट प्राउडेंट फंड में हेराफेरी करने वाली छत्तीसगढ़ पुलिस की महिला एएसआई व उसके सहयोगी आरक्षक को सस्पेंड कर दिया है। वहीं दोनों के खिलाफ विभागीय जांच भी शुरू कर दी गई है। इस मामले में आरक्षक को गिरफ्तार कर लिया गया है वहीं महिला एएसआई फरार बताई जा रही हैं। मिली जानकारी के अनुसार एसपी ऑफिस की फंड शाखा में लंबे समय से कार्यरत एएसआई मधुशिला सुरजाल ने बेलगहना चौकी में पदस्थ हेड कांस्टेबल संजय श्रीवास्तव के साथ मिलकर गर्वमेंट प्रोविडेंट फंड की रकम में भारी हेराफेरी की। एसएसपी पारुल माथुर ने जांच के दौरान जीपीएफ खातों की राशि में गड़बड़ी पकड़ी थी और डीएसपी राजेश श्रीवास्तव को को इसकी जांच की जिम्मेदारी सौंपी थी। डीएसपी राजेश श्रीवास्तव ने जब त्रक्कस्न राशि और खातों की तो उनके भी होश उड़ गए। जांच में पता चला कि एएसआई मधुशिला सुरजाल व हेड कांस्टेबल संजय श्रीवास्तव ने मिलकर जीपीएफ खातों में 59 लाख रुपए की हेरफेर की थी। जांच रिपोर्ट में पता चला कि महिला एएसआइ्र ने कई तरह से हेरफेर किया और राशि की गड़बड़ी की। महिला एएसआई जब भी किसी का आवेदन आता तो मांगी गई रकम से ज्यादा निकाल लेती और अपने खाते में जमा कर लेती थी। महिला एएसआई का यह खेल कई सालो से चला आ रहा था। इधर जांच शुरू होने के बाद पोल खुलने के डर से महिला एएसआई व हवलदार ने गबन की रकम को जमा भी करा दिया। गबन की राशि जमा होने के बाद भी बिलासपुर एसएसपी पारूल माथुर ने इसे बड़ी गलती मानी है। महिला एएसआई मधुशिला सुरजाल और हवलदार संजय श्रीवास्तव के खिलाफ एसएसपी पारुल माथुर के निर्देश पर दो दिन पहले अपराध दर्ज किया गया था। इस मामले में सिविल लाइंस थाने में धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120 बी के तहत केस दर्ज किया गया था। अब इस मामले में आरक्षक संजय श्रीवास्तव को गिरफ्तार कर लिया गया है। वहीं एएसआई मधुशिला सुरजाल फरार है।